pipe fitter interview questions and answers
Ans: – टेप छोटा है। इससे संभव नहीं है।
नोट :- अगर तीन मीटर का टेप देकर प्रश्नाकर्ता यह कहे कि इसमें साढ़े तीन मीटर दिखाओं तो संभव नहीं है। अगर यह कहें कि साढे तीन मीटर नाप कर बताओं, तो संभव है।
Q.2: – Cool Cutting तथा Hot Cutting क्या है ?
Ans.: – Hackshaw (हेक्शॉ) तथा पाइप कटर से काटना Coll Cutting कहलाता है। इसको कटिंग करने के समय काटने वाले स्थान पर पानी गिराते रहना चाहिए या Cutting oil में पानी मिलाकर गिराते रहना चाहिए ।
Hot Cutting: – जब भी हम पाइप या कोई अन्य मेटल को Cutting Torch (कटिंग टार्च) या ग्राइन्डर ‘ से काटना Hot Cutting कहलाता है।
‘Welding, गौजींग, गैस कटिंग, ग्राइन्र से काम हिटिंग, प्लाज्मा कटिंग Hot work कहलाता है। ”
Q.3: – टेप (मीटर) का अगला पोरशन (हुक) लूज क्यों होता है ?
Ans: – यह इंटरव्यू में अक्सर पूछा जाता है की टेप का अगला हुक लूज क्यों होताहा है लूज इस लिए होता है की जब हम मेजरमेंट किसी पाइप या अन्य मैटेरियल में हुक को फसा कर करते है तो उसका lentgh 1.5 mm प्लस होजता है मार्किंग करने केबाद उसको ग्राइंडर से कटिंग करेगे तो जो grinding का व्हील रहता है वह 3mm होता है और मार्किंग के दोनो तरफ 1.5 mm cutting करने पर पाइप छोटा होजाता है इसी को मेंटेन रखने के लिए टेप का हुक लूज रखा जाता है
Q.4: – दो अलग -अलग Thickness वाले पाइप का ज्वाइन्ट करना है तो आप कैसे करेगे –
Ans: – मोटे Thickness वाले पाइप का ID ग्राइन्ड करके पतले Thick वाले साइज के बराबर बनाने के बाद ज्वाइन्ट होगा। ग्राइन्डींग perfect होना चाहिए। मतलब यह कि किनारे पर 1mm ग्राइन्डींग करना हो तो अन्दर 4mm तक ग्राइन्ड होना चाहिए ।
Q.5: – पाइप ज्वाइन्ट कितने प्रकार के होते हैं।
Ans.: – (1) Welding Joint (वेल्डींग ज्वाइन्ट)
(2) थ्रेडिंग जॉइंट (थ्रेडिंग ज्वाइंट)
(3) Flange Joint (फ्लेंज ज्वाइन्ट).
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Q.6: – फ्लेंज वेल्डींग ज्वाइन्ट कितने प्रकार के होते हैं।
Ans.: – (1) Butt weld joint
(2) Socket Weld joint
(3) Slip on Flange Joint
Q.7: – 40 Sch Pipe तथा 80 Sch पाइप में क्या फर्क होता है ?
Ans.: – 40 Sch (40 शैड्यूल) पइप का Thickness कम होता है तथा 80 Sch पाइप का Thickness ज्यादा रहता है।
नोट:- पाइप का Thickness बढ़ने पर पाइप के OD में कोई फार्क नहीं आता
है। ID में फर्क आता है। शैड्यूल (Sch) बढ़ने पर Thickness बढ़ता है तथा ID कम होता जाता है।
Q.8: – Pipe तथा Tube (ट्यूब) में क्या अन्तर है ?
Ans.: – पाइप हमेशा OD के स्टैन्डर्ड से बनता है। Tube हमेशा NS के स्टैन्डर्ड से बनता है।
यानि Pipe का OD फिक्श रहता है। Tube का NS फिक्श रहता है।
Q.9: – 150# के Flange (एक सौ पचास पौन्ड प्रेशर के फ्लेंज) तथा 300#के Flange (300 पौन्ड प्रेशर के फ्लेंज) में क्या अन्तर होता है।
Ans.: – 150# Flange का OD कम रहता है, Thickness कम होता है, Hole की संख्या कम होती है। तथा Hole का साइज भी कम रहता है। 300# Flange में यह सभी चीजे ज्यादा या बड़ी होती हे ।
Q.10: – कनसेन्ट्रीक रेड्यूसर तथा इसेन्ट्रिक रेड्यूसर में क्या अन्तर है ?
Ans: – कनसेन्ट्रीक रेड्यूसर चारो तरफ से Slop (स्लोप) रहता है। जबकि इसेन्ट्री रेड्यूसर तीन तरफ से स्लोप रहता है लेकिन एक तरफ से स्ट्रेट (सीधा ) रहता है। नोट :- यो तो दोनो रेड्यूसर का प्रयोग पाइप में प्रेशर बढ़ाने के लिए किया जाता
है पर इसेन्ट्रिक रेड्यूसर के प्रयोग से पाइप का लेवल किसी एक साइड में बराबर रखा जा सकता है। अगर पाइप का Top Level सही रखना है तो इसेन्ट्रीक रेड्यूसर का सीधा वाला हिस्सा Top में रखकर फिट किया जायेगा। इसी तरह टिम लेवल भी मेनटेन किया जा सकता है।
Q.11: – पाइप पर इनसुलेशन क्यों लगाया जाता है।
Ans: – पाइप के अन्दर जो भी तरल पदार्थ बहता है उसका टेम्प्रेचर (Temperature) एक समान बनी रहे। इसके लिए इनसुलेशन किया जाता है।
Q.12: – पाइप में Vent (वेन्ट) तथा Drain (ड्रेन) क्यों लगाया जाता है।
Ans: – पाइप का हाइड्रोटेस्ट करने के लिए Vent तथा Drain’लगाया जाता है।
Vent पाइप के सबसे हाई लेवल पर Top में लगता है। Drain पाइप के सबसे नीचले लेवल पर पाइप के बटम में लगता है। O let या Cou- pling का प्रयोग Vent – Drain के लिए पाइप में किया जाता है।
Q.13: – पाइप का लीक चेक कैसे किया जाता है ?
Ans: – Soap water या Chaulk (चौक) से लीक चेक करने के लिए ज्वाइन्ट पर चौक रगड़ देते हैं। अगर लीक होगा तो चौक गीला हो जायेगा । लेकिन जब हाइड्रोटेस्ट होता हो तब | Air Test के समय Soap water से चक किया जाता है। जहाँ Air Pass ( लीक) होगा वहाँ सोप वाटर से बबल पैदा होगा।
Q.14: – SW Flange तथा Slip on Flange में क्या अन्तर है ?
Ans.: – SW Flange के अन्दर पाइप एक निश्चित मात्रा में घुसता है जबकि Slip on Flange के अन्दर पाइप जितना चाहें अन्दर घुसा सकते हैं। Slip on Flange के अन्दर से पाइप आर-पार जा सकता है पर SW Flange के अन्दर से नही ।
Q. 15: – पाइप का Overlap सही करने के लिए क्या करते हैं ?
Ans.:- एल तथा वेज का प्रयोग करके Over Lap सही किया जाता है। L हमेशा डाउन वाले पाइप पर लगाना चाहिए जो पाइप ऊँचा है उसपर वेज मारना चाहिए ।
वेज़ पर हैमर मारकर जितना ही टाइट करेंगे नीचे वाला Pipe1 ऊपर आयेगा तथा उपर वाला Pipe 2 नीचे जायेगा । तबतक वेज पर हैमर मारते रहिए जबतक दोनो पाइप समान लेवल में न हो जाय यानी जबतक Overlap बराबर न हो जाय ।
Q16.: – Pipe में Spring Support (स्प्रिंग सपोर्ट) क्यों लगाया जाता है ?
Ans.: – Pipe का Vibration (वाईब्रेशन) यानी कम्पन मेनटेन करने के लिए स्प्रिंग सपोर्ट लगता है ।
Q.17: – अगर ऊँचाई पर पाइप cutting करना हो, और पाइप फिक्श हो तो क्या-क्या सावधानी करोगे ?
Ans: – जो पाइप काटकर निकालना है उसे अच्छी तरह Hold करना चाहिए। कटिंग से पहले नीचे काम करने वाले को साधान कर देना चाहिए या संभव हो तो हटवा देना चाहिए। फायर फाइटिंग का सामान रखना चाहिए । अगर पाइप Horizontal हो तो नीचे, साइड में काटने के बाद अन्त में ऊपर काटना चाहिए। लास्ट कटिंग के बाद अन्त में उपर काटना चाहिए। लास्ट कटिंग के समय अपने आप भी सेफ होकर काटना चाहिए।
Q.18: – Flange का फेस किस तरह साफ करोगे ?
Ans.: – WD 40 स्प्रे करके वायर ब्रश या कपड़ से साफ करना चाहिए। फेस साफ करने के लिए कभी भी ग्राइन्डर का इस्तेमाल नही करना चाहिए ।
Q.19: – हवा में अगर Plumb (साहुल) हिलता हो तो उसका हिलना कैसे बन्द करेंगे ?
Ans: – बाल्टी या डिब्बा में Oil (मोबील आयल, क्रूड आयल या कोई भी Oil) ले उसमें Plumb डालें, हिलना बन्द हो जायेगा। Plum नीचे या बाल्टी किनारे से टच नही होना चाहिए।
Q.20: – Eye Plate (आई प्लेट) का प्रयोग
Ans: – पाईप या प्लेट उठाने के लिए या खींचने के लिए किया जाता है। जहां
पकड़ने के लिए कोई जोगाड़ न हो ।आई प्लेट में नीचे Welding किया जाता है तो Hole में चेन ब्लौक, लीवर ब्लौक इत्यादि का हुक लगाकर खींचा जाता है।
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